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कभी जूते पहनने के पैसे नहीं थे, नंगे पैर की प्रैक्टिस… अब ओलंपिक में देश के लिए दौड़ेंगे

दौड़ना था रेस. जूते खरीदने के लिए पैसे नहीं थे. लेकिन, ठान लिए थे कि रुकना नहीं है. ऐसे में नंगे पांव ही प्रैक्टिस शुरू की. ये रेस ऐसी शुरू हुई कि अब वह टोक्यो ओलंपिक में देश के लिए दौड़ने जा रहे हैं.

नाम है पी नागानाथन. उम्र 25 साल. डिस्ट्रिक्ट स्पोर्ट्स मीट में गिफ्ट में मिले जूते पहने. ग्रेजुएशन तक पढ़ाई की. 12वीं के बाद वह इंजीनियरिंग करना चाहते थे. लेकिन, घर में पैसे नहीं थे. ऐसे में पार्ट टाइम जॉब शुरू किए और इतिहास से बीए में एडमिशन ले लिए. सेमेस्टर के अंत में स्पोर्ट्स में उनके परफॉर्मेंस की वजह से फीस कम कर दिए जाते थे.

साल 2017 में स्पोर्ट्स कोटे से ही उन्हें सशस्त्र रिजर्व कांस्टेबल की जॉब मिली. साल 2019 में ऑल इंडिया पुलिस मीट में गोल्ड मेडल जीते. पटियाला फेडरेशन कप में दूसरे स्थान पर रहे. इसके बाद 45 दिनों की ट्रेनिंग के बाद भारतीय टीम में उनका सिलेक्शन हुआ.

उम्मीद नहीं थी

नागनाथन का कहना है कि उन्हें कभी उम्मीद नहीं थी कि वह ओलंपिक में हिस्सा लेंगे. लेकिन, कोच प्रभाकरन, चेन्नई पुलिस के कुछ ऑफिसर का भी शुक्रिया कहा है.

Source: India times

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