कुवैत (Kuwait) के अमीर (शासक) शेख सबाह अल अहमद अल सबाह का 91 वर्ष की उम्र में मंगलवार को इंतकाल हो गया. यह जानकारी देश के सरकारी टीवी (Government TV) ने दी है. तेल समृद्ध देश के लंबे वक्त तक विदेश मंत्री (Foreign Minister) रहने के दौरान शेख सबाह ने 1990 के खाड़ी युद्ध के बाद इराक के साथ करीबी रिश्ते कायम करने और अन्य क्षेत्रीय संकटों (Other regional crises) का समाधान निकालने के लिए काफी काम किया. शेख सबाह ने कतर (Qatar) और अन्य अरब देशों (Arab Countries) के बीच विवाद के कूटनीतिक हल के लिए भी कोशिशें कीं और यह प्रयास आज की तारीख तक जारी रहे.
My heartfelt condolences on the sad demise of His Highness Sheikh Sabah Al-Ahmed Al-Jaber Al-Sabah, Amir of the State of Kuwait. In this moment of grief our thoughts are with the Al-Sabah family and the people of the State of Kuwait.
— Narendra Modi (@narendramodi) September 29, 2020
2006 में कुवैत के अमीर बने थे शेख सबाह अल अहमद अल सबाह
वह 2006 में कुवैत के अमीर बने थे. इससे पहले कुवैत की संसद ने उनके पूर्ववर्ती अमीर शेख साद अल अब्दुल्लाह अल सबाह को नौ दिन के शासन के बाद ही बीमारी की वजह से तख्त से हटा दिया था. इराकी फौजें 1990 में कुवैत में घुस आई थीं. इसके बाद अमेरिकी नीत जंग में इराकी सेना को खदेड़ दिया गया था. इसके बाद से ही कुवैत अमेरिका का घनिष्ठ सहयोगी है. सरकारी टीवी ने कुरान की आयतों के प्रसारण के साथ शेख सबाह के इंतकाल की सूचना दी. शाही दरबार मंत्री शेख अली जर्राह अल सबाह ने संक्षिप्त बयान पढ़ा. उन्होंने कहा कि दुख के साथ बताया जाता है कि कुवैती लोग, अरब और इस्लामी विश्व के लोग शेख सबाह के निधन से दुखी हैं.
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हालांकि उनके इंतकाल का कारण नहीं बताया गया है. शेख सबाह जुलाई 2020 में बीमार हो गए थे. कोरोना वायरस महामारी के बीच उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था तथा उनका ऑपरेशन हुआ था. उस वक्त भी अधिकारियों ने बीमारी के बारे में जानकारी नहीं दी थी. इसके बाद अमेरिकी वायुसेना का सी-17 फ्लाइंग हॉस्पिटल शेख सबाह को मिनिसोटा के रोचेस्टर ले गया था, जहां मायो क्लीनिक स्थित है. मायो क्लीनिक ने टिप्पणी के अनुरोध पर तत्काल कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है. (भाषा के इनपुट सहित)