बिहार सरकार का ड्रीम प्रोजेक्ट गंगा पाथ वे का निर्माण काफी तेजी से हो रहा है। ऐसा माना जा रहा है कि इसी महीने इस पथ का पहला फेज का उद्घाटन इसी महीने हो जाएगा। लेकिन इसके बावजूद भी इस पथ पर गाड़ियों का आवागमन शुरू हो गया है। सड़कों पर ट्रैफिक की समस्या से बचने के लिए लव इस पथ का उपयोग कर रहे हैं।
ट्रैफिक जाम होने के इस समस्या से बचने के लिए लोग गंगा दीघा से एलसीटी घाट तक अपनी गाड़ियों के दौड़ा रहे हैं। बताया जा कि गंगा पाथ वे पर गांधी मैदान तक जल्द ही गाड़ियों के परिचालन शुर हो जायेगा। क्योंकि इसके निर्माण का कार्य अंतिम चरण में हैं। उम्मीद लगाया जा रहा है कि अगले हफ्ते तक गंगा पाथ वे पर दीघा से गांधी मैदान तक गाड़ियों को फर्राटा भरने का मौका मिल जायेगा।
फिलहाल लोग अपने वाहनों से दीघा से 3.25 किलोमीटर की दुरी तय करके एलसीटी घाट तक पहुंच रहे हैं। जिसके बाद डायवर्सन की मदद से राजापुर पुल पास महावीर वात्सल्य सामने से अशोक राजपथ पर निकल रहे हैं। बता दे कि बोरिंग रोड के तरफ जाने वाले वाहन चालक भी इसी रूट को फॉलो कर रहे हैं।
बताया जा रहा है कि पाथ वे निर्माण कार्य को अगले दो सप्ताह में पूरा करने के टास्क निर्माण एजेंसी को मिला है। एजेंसी को यह टास्क बीएसआरडीसी के अधिकारियों ने दी है।
दीघा से एनएन सिन्हा इंस्टीट्यूट तक डिवाइडर पर स्ट्रीट लाइट लग चुकी है। अलकतरा की फाइनल पिचिंग हाे रही है। दीघा रोटरी और जेपी सेतु के बीच रेलवे द्वारा गाइड बांध बनाया गया है। इसको हटाने के लिए बीएसआरडीसी ने रेलवे से अनुमति मांगी है। इसके बाद रोटरी सड़क का कनेक्शन हो जाएगा। दोनों तरफ मिट्टी भरने का काम पूरा हो गया है। बता दें कि दीघा से दीदारगंज के बीच गंगा पाथवे की कुल लंबाई 20.5 किमी है। इसमें 10.2 किमी तक स्लैब चढ़ाने का कार्य पूरा हो गया है। दीघा से पीएमसीएच की दूरी 7.5 किमी है।